Stock Market लगातार 5 महीने लुढ़कने के बाद क्या मार्च में पटरी पर लौटेगी? जानें आंकड़े क्या दे रहे संकेत
पिछले 10 वर्षों के डेटा से पता चलता है कि निफ्टी में 2016, 2017, 2019, 2021, 2022, 2023 और 2024 में तेजी रही, जबकि 2015, 2018 और 2020 में गिरावट के साथ बंद हुआ।

Stock Market लगातार 5 महीने लुढ़कने के बाद क्या मार्च में पटरी पर लौटेगी? जानें आंकड़े क्या दे रहे संकेत
Netaa Nagari द्वारा, टीम netaanagari
मार्च का महीना जब भी आता है, तो निवेशकों की नजरें वित्तीय बाजार पर होती हैं। पिछले पांच महीनों से शेयर बाजार में गिरावट का दौर जारी है, जिससे निवेशकों में चिंता का माहौल है। अब मार्च में क्या स्थिति रहने वाली है, इसे लेकर कई विश्लेषक और अर्थशास्त्री अपने विचार प्रस्तुत कर रहे हैं। इस लेख में हम इन आंकड़ों की समीक्षा करेंगे और देखने की कोशिश करेंगे कि क्या मार्च महीने में बाजार फिर से पटरी पर लौटेगा।
पिछले 5 महीनों का प्रदर्शन
वर्ष 2023 की शुरुआत से लेकर अब तक भारतीय शेयर बाजार में गिरावट का एक सिलसिला चलता रहा है। निफ्टी और सेंसेक्स दोनों ही सूचकांकों में गिरावट दर्ज की गई है। विशेषज्ञों का मानना है कि ये गिरावट वैश्विक आर्थिक अस्थिरता, उच्च ब्याज दरों और महंगाई जैसे कारकों के कारण हुई है। वित्तीय विशेषज्ञ डॉ. सिमा पाठक कहती हैं, "गिरावट के पीछे की वजह महंगाई दर का बढ़ना और केंद्र सरकार की मौद्रिक नीति में बदलाव हैं।"
मार्च में क्या हो सकता है?
विश्लेषकों का मानना है कि मार्च महीने में शेयर बाजार में कुछ सुधार हो सकता है। सबसे पहले, बजट सत्र की समाप्ति और कंपनियों के तिमाही नतीजों का आना, निवेशकों के लिए संकेत हो सकता है। इसके अलावा, यदि वैश्विक बाजार में स्थिरता देखी जाती है तो भारतीय शेयर बाजार भी सकारात्मक दिशा में जा सकता है।
विशेषज्ञ राधिका शर्मा कहती हैं, "अगर मार्च में कंपनियों के नतीजे अच्छे आए, तो इससे बाजार में सुधार की संभावना बढ़ जाएगी।" उन्होंने आगे बताया कि निवेशकों को सतर्क रहने की आवश्यकता है और उन्हें लंबी अवधि के निवेश पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए।
संकेत और आंकड़े
मार्च के पहले सप्ताह में आई आंकड़ों के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशकों (FII) ने फिर से शेयर बाजार में निवेश करना शुरू किया है। यह एक सकारात्मक संकेत है। पिछले महीने में उनकी निवेश राशि में उछाल देखने को मिला है। इसके अलावा, घरेलू निवेशकों का मूड भी बेहतर होता जा रहा है। शोधकर्ता राजीव मिश्रा का कहना है, "अगर यह प्रवृत्ति रही तो मार्च में एक नई उंचाई देखने को मिल सकती है।"
निष्कर्ष
अंत में, यह कहा जा सकता है कि मार्च में भारतीय शेयर बाजार के पटरी पर लौटने की उम्मीद है। हालांकि, निवेशकों को सतर्क रहना चाहिए और अपने निवेश निर्णयों को सही जानकारी के आधार पर लेना चाहिए। गुणवत्तापूर्ण कंपनियों में निवेश करने से दीर्घकालिक लाभ की संभावना बढ़ जाती है।
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