गौतम अदाणी: भारत के लिए स्वास्थ्य क्रांति का संकल्प, सस्ते और AI-आधारित हेल्थकेयर हब की योजना
Gautam Adani Resolve to make India healthy. देश के उद्योग जगत के दिग्गज और अदाणी ग्रुप के चेयरमैन गौतम अदाणी ने शुक्रवार को मुंबई में आयोजित ‘सोसाइटी फॉर मिनिमली इनवेसिव स्पाइन सर्जरी – एशिया पैसिफिक’ (SMISS-AP) के 5वें वार्षिक सम्मेलन में भारत के हेल्थ सेक्टर को पूरी तरह से बदलने का विजन पेश किया। उन्होंने … The post Gautam Adani : भारत को स्वस्थ बनाने का संकल्प…सस्ते और AI-आधारित हेल्थकेयर हब की तैयारी appeared first on Bharat Samachar | Hindi News Channel.

गौतम अदाणी: भारत के लिए स्वास्थ्य क्रांति का संकल्प, सस्ते और AI-आधारित हेल्थकेयर हब की योजना
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कम शब्दों में कहें तो, अदाणी ग्रुप के चेयरमैन गौतम अदाणी ने हेल्थकेयर सेक्टर में एक नई दिशा पेश करते हुए एक सस्ता और AI-आधारित हेल्थकेयर हब बनाने का संकल्प लिया है। भारत के उद्योग जगत के इस दिग्गज ने शुक्रवार को मुंबई में ‘सोसाइटी फॉर मिनिमली इनवेसिव स्पाइन सर्जरी – एशिया पैसिफिक’ (SMISS-AP) के 5वें वार्षिक सम्मेलन में इस विषय पर अपनी राय व्यक्त की।
समुदाय के स्वास्थ्य में क्रांतिकारी परिवर्तन
गौतम अदाणी ने स्पष्ट किया कि भारत का स्वास्थ्य क्षेत्र केवल सुधार की बजाय एक क्रांतिकारी बदलाव का आह्वान करता है। उन्होंने बताया कि हेल्थकेयर प्रणाली में सुधार अब बेहद जरूरी हो गया है और इसे केवल तकनीकी विकास से नहीं, बल्कि सहानुभूति के साथ मजबूत करने की आवश्यकता है। इसके लिए उन्होंने स्वास्थ्य, शिक्षा और कौशल विकास पर 60,000 करोड़ रुपये के निवेश का ऐलान किया।
AI-आधारित हेल्थकेयर कैम्पस की शुरुआत
अदाणी ने सम्बोधित करते हुए बताया कि उनके पहले कदम में, अहमदाबाद और मुंबई में 1000-बेड वाले AI-आधारित हेल्थकेयर कैम्पस की स्थापना की जाएगी। इन कैम्पस को इस तरह डिज़ाइन किया जाएगा कि ये मॉड्यूलर और स्केलेबल हों, ताकि किसी महामारी या आपदा के समय तेजी से इन्हें बढ़ाया जा सके। इस पहल के लिए विश्वस्तरीय संस्थानों के डिजाइन और चिकित्सा नवाचार का लाभ मिलेगा।
स्वास्थ्य प्रणाली के 5 मजबूत स्तंभ
- एकीकृत देखभाल प्रणाली: पारंपरिक विभागों को जोड़ते हुए
- मॉड्यूलर और स्केलेबल इन्फ्रास्ट्रक्चर का निर्माण
- रोबोटिक्स और AI-आधारित शिक्षण प्रणाली का उपयोग
- नर्सिंग और पैरामेडिकल ट्रेनिंग में बढ़ी हुई निवेश
- मरीज केंद्रित बीमा मॉडल की स्थापना
पीठ दर्द को एक राष्ट्रीय चुनौती के रूप में पहचानना
अदाणी ने लोअर बैक पेन को देश में बढ़ती अक्षमता का मुख्य कारण बताया। उनका मानना है कि अगर हमें देश के संसाधनों का सही उपयोग करना है, तो पहले स्वास्थ्य समस्याओं का समाधान करना होगा, विशेषकर हमारे रीढ़ से संबंधित मुद्दों का। यह एक स्वास्थ्य चुनौती है जिसका सामना करना अनिवार्य है।
ग्रामीण भारत पर ध्यान केंद्रित करना
ग्रामीण भारत में स्वास्थ्य सुविधाओं की कमी की ओर इशारा करते हुए, अदाणी ने बताया कि देश में प्रति 10,000 व्यक्तियों पर केवल 20.6 डॉक्टर, नर्स और मिडवाइफ हैं, जबकि WHO का मानक 44.5 है। उन्होंने चिकित्सा उद्यमियों से अपील की कि वे AI-पावर्ड स्पाइन डायग्नोस्टिक्स और ग्रामीण सर्जिकल यूनिट्स की स्थापना की दिशा में आगे आएं।
शिक्षा, सेवा और समर्पण का नया आयाम
अदाणी ने कहा कि अब डॉक्टरों को चिकित्सा के साथ-साथ सहानुभूति और नेतृत्व की शिक्षा भी देनी होगी। उन्होंने यह भी कहा कि अगर हमारे लोग आगे बढ़ना चाहते हैं, तो उनकी रीढ़ को मजबूत होना जरूरी है।
गौतम अदाणी के इस हेल्थकेयर पहल का उद्देश्य न केवल स्वास्थ्य के क्षेत्र में सुधार लाना है, बल्कि पूरे देश के विकास में भी नवाचार लाना है। यह कदम भारतीय समाज को एक नई दिशा में ले जाने का कार्य करेगा।
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लेखकों - प्रियंका शर्मा, टीम नेटा अनागरी
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