लखनऊ में ऑक्सीटोसिन गिरोह का भंडाफोड़: यूपी STF ने 1.20 करोड़ रुपये के इंजेक्शन जब्त किए

लखनऊ। उत्तर प्रदेश विशेष कार्यबल (एसटीएफ) ने ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन की अवैध तस्करी और आपूर्ति में कथित रूप से शामिल एक अंतरराज्यीय गिरोह के तीन संदिग्ध सदस्यों को बुधवार को गिरफ्तार किया। एसटीएफ के अनुसार इस ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन का कथित तौर पर इस्तेमाल दुधारू मवेशियों और सब्जियों में किया जाता था।  एसटीएफ ने एक गुप्त सूचना के आधार पर कार्रवाई करते हुए लखनऊ के काकोरी थानाक्षेत्र में बुद्धेश्वर क्रॉसिंग के पास मोहन रोड पर एक मकान पर छापेमारी के दौरान लगभग 5,87,880 मिलीलीटर ऑक्सीटोसिन जब्त किया, जिसकी कीमत लगभग 1.20 करोड़ रुपये है।  एसटीएफ ने कहा कि गिरफ्तार व्यक्तियों की पहचान...

Jul 2, 2025 - 18:37
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लखनऊ में ऑक्सीटोसिन गिरोह का भंडाफोड़: यूपी STF ने 1.20 करोड़ रुपये के इंजेक्शन जब्त किए
अंतरराज्यीय ऑक्सीटोसिन गिरोह का भंडाफोड़: लखनऊ में UP STF ने जब्त किये 1.20 करोड़ के इंजेक्शन

लखनऊ में ऑक्सीटोसिन गिरोह का भंडाफोड़: यूपी STF ने 1.20 करोड़ रुपये के इंजेक्शन जब्त किए

लखनऊ। उत्तर प्रदेश विशेष कार्यबल (एसटीएफ) ने ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन की अवैध तस्करी और आपूर्ति में शामिल एक अंतरराज्यीय गिरोह के तीन संदिग्ध सदस्यों को बुधवार को गिरफ्तार किया। एसटीएफ की जानकारी के अनुसार, इस अवैध कारोबार में इस्तेमाल होने वाला ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन दुधारू मवेशियों और सब्जियों में उपयोग किया जाता था। एसटीएफ ने गुप्त सूचना के आधार पर लखनऊ के काकोरी थानाक्षेत्र में बुद्धेश्वर क्रॉसिंग के पास एक मकान पर छापेमारी करते हुए लगभग 5,87,880 मिलीलीटर ऑक्सीटोसिन जब्त किया, जिसकी कुल कीमत करीब 1.20 करोड़ रुपये है।

गिरफ्तारी की जानकारी

गिरफ्तार संदिग्धों की पहचान अनमोल पाल, अवधेश पाल और खगेश्वर के रहने वाले एक अन्य व्यक्ति के रूप में हुई है। एसटीएफ ने इनसे जब्त हुई सामग्री में ऑक्सीटोसिन का बड़ा स्टॉक, 12,000 रुपये नकद, 800 खाली शीशियां, रबर और एल्यूमीनियम के ढक्कन, प्लास्टिक के कीप, पाइप, नमक के पैकेट, और एक परिवहन वाहन शामिल हैं। तीन मोबाइल फोन भी इस छापेमारी के दौरान बरामद किए गए हैं।

ऑक्सीटोसिन का खतरा

जानकारी के अनुसार, यह गिरोह बिहार से 'मिनरल वाटर पार्सल' के तहत उच्च घनत्व वाले ऑक्सीटोसिन की खरीद करता था। जब इस सामग्री को प्राप्त किया जाता था, तो इसे छोटे-छोटे एम्पुल में पैक कर लखनऊ और आस-पास के अन्य जिलों में अवैध रूप से वितरित किया जाता था। ऑक्सीटोसिन का प्रयोग दुधारू मवेशियों में दूध उत्पादन बढ़ाने और फलों और सब्जियों के विकास को तेजी से बढ़ाने के लिए किया जाता है, जो मानव और पशु स्वास्थ्य के लिए गंभीर खतरे पैदा कर सकता है।

स्वास्थ्य पर प्रभाव

विशेषज्ञों के अनुसार, इन इंजेक्शन का प्रयोग अस्वास्थ्यकर परिस्थितियों में किया जा रहा था। एसटीएफ ने बताया कि इन अवैध रूप से खरीदे गए इंजेक्शन को पतला करके बिना लाइसेंस वाली और अस्वच्छ शीशियों में भरा जा रहा था। इस गंभीर मुद्दे को देखते हुए, एसटीएफ ने भारतीय दंड संहिता के संबंधित धाराओं के तहत काकोरी पुलिस थाने में मामला दर्ज किया है और मामले की आगे की जांच जारी है।

अवसर और चुनौतियां

यह भंडाफोड़ यह दर्शाता है कि भारत में दवाओं की तस्करी एक गंभीर समस्या बन चुकी है। यह न केवल स्वास्थ्य के लिए खतरा है, बल्कि किसानों और सामान्य लोगों पर इसके दूरगामी प्रभाव भी पड़ सकते हैं। ऐसे गिरोहों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की आवश्यकता है ताकि स्वस्थ और सुरक्षित खाद्य उत्पादों की सप्लाई सुनिश्चित की जा सके।

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यह मामला न केवल कानूनी और आपराधिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, बल्कि यह समाज को भी यह दिखाता है कि हमें अपनी स्वास्थ्य सुरक्षा के प्रति सतर्क रहना चाहिए। एसटीएफ की कार्रवाई एक सकारात्मक कदम है और हमें उम्मीद है कि इससे आगे इस तरह की गतिविधियों को समाप्त किया जा सकेगा।

इस भंडाफोड़ के मामले खाद्य सुरक्षा और स्वास्थ्य के मुद्दे को प्राथमिकता देने की आवश्यकता को उजागर करते हैं।

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लेखिका: साक्षी शर्मा, प्रिया देवी, अनामिका कौर। टीम Netaa Nagari

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