बाराबंकीः जल शक्ति मंत्री ने बाढ़ सम्भावित क्षेत्र का किया दौरा, अधिकारियों को दिए निर्देश
डिजिटल डेस्क- उत्तर प्रदेश के जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने राज्य मंत्री खाद्य एवं रसद सतीश चन्द्र शर्मा के साथ सरयू नदी घाघरा के दाएं तटबंध पर स्थित…

बाराबंकीः जल शक्ति मंत्री ने बाढ़ सम्भावित क्षेत्र का किया दौरा, अधिकारियों को दिए निर्देश
डिजिटल डेस्क- उत्तर प्रदेश के जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने राज्य मंत्री खाद्य एवं रसद सतीश चन्द्र शर्मा के साथ सरयू नदी घाघरा के दाएं तटबंध पर स्थित बाढ़ संभावित क्षेत्रों का दौरा किया। यह दौरा इस उद्देश्य से किया गया था कि बाढ़ के खतरे को कम किया जा सके और संबंधित अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए जा सकें।
दौरे का उद्देश्य
जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने इस दौरे के दौरान अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि जल स्तर की निगरानी के साथ-साथ तटबंधों की स्थिति पर विशेष ध्यान दिया जाए। उन्होंने कहा, "हमारी प्राथमिकता है कि बाढ़ से प्रभावित क्षेत्रों के निवासियों की सुरक्षा सुनिश्चित की जाए और उन्हें किसी भी प्रकार की कठिनाइयों का सामना न करना पड़े।"
निर्देशों का महत्व
सरयू नदी के किनारे बसे गांवों में बाढ़ के खतरे को देखते हुए, मंत्री ने अधिकारियों को सुनिश्चित करने के लिए कहा कि समय-समय पर किसी भी प्रकार की चेतावनी जारी की जाए। उन्होंने कहा, "बाढ़ की संभावना को देखते हुए, सभी गांवों में नागरिकों को जागरूक करना आवश्यक है ताकि वे समय पर सुरक्षित स्थान पर जा सकें।"
स्थानीय सहयोग और तैयारी
दौरे के दौरान, सिंह ने स्थानीय स्तर पर बाढ़ प्रबंधन टीमों को सक्रिय करने के निर्देश भी दिए। उन्होंने कहा, "बाढ़ की स्थिति में तत्काल कार्रवाई के लिए योजना तैयार होनी चाहिए, जिसमें पर्याप्त संख्या में राहत सामग्री और चिकित्सा सहायता उपलब्ध हो।" टीमों को प्रशिक्षण देने की आवश्यकता पर जोर देते हुए उन्होंने कहा कि यह सुनिश्चित करना जरूरी है कि सभी कर्मचारी आपात स्थिति में प्रभावी रूप से कार्य कर सकें।
भविष्य की योजनाएं
जल शक्ति मंत्री ने भविष्य में बाढ़ रोकथाम के उपायों पर भी चर्चा की। उन्होंने कहा, "सरकार लगातार नदी किनारों और तटबंधों को मजबूत करने के लिए कार्य कर रही है। इसके अलावा, जल निकासी की क्षमता बढ़ाने के लिए अतिरिक्त धनराशि मुहैया कराई जाएगी।" उन्होंने कहा कि बाढ़ की संभावनाओं को देखते हुए सभी आवश्यक कदम उठाए जाएंगे।
निष्कर्ष
इस दौरे से यह स्पष्ट होता है कि उत्तर प्रदेश सरकार जल संरक्षण और बाढ़ प्रबंधन को लेकर गंभीर है। जिम्मेदार अधिकारियों को दिए गए निर्देश भविष्य में जल संकट के संकट को कम करने में सहायक साबित हो सकते हैं। मंत्री द्वारा उठाए गए इन कदमों से स्थानीय निवासियों में भी सुरक्षा का भाव जागृत होगा।
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यह लेख टीम नेटआनागरी द्वारा लिखा गया है।
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